चंद्रयान-1 भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान केंद्र (ISRO) द्वारा 22 अक्टूबर 2008 को प्रक्षेपित किया गए ll इस मिशन में 90 million USD खर्च किए गए ll भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन के चंद्र अन्वेषण कार्यक्रम के द्वारा चंद्रमा की तरफ कूच करने वाला भारत का पहला अंतरिक्ष यान था। इस अभियान के अन्तर्गत एक मानवरहित यान को चंद्रमा की कक्षा में स्थापित करना था और यह यान ध्रुवीय उपग्रह प्रमोचन यान ( pslv-c11) के एक संशोधित version वाले राकेट की सहायता से सतीश धवन अंतरिक्ष केन्द्र से प्रक्षेपित किया गया। इसे चन्द्रमा तक पहुँचने में 5 दिन लगे पर चन्द्रमा की कक्षा में स्थापित करने में 25 दिनों का समय लग गया। चंद्रयान-1 का उद्देश्य चंद्रमा की सतह के विस्तृत information और पानी के अंश और He की तलाश करना था। चंद्रयान-1 ने चंद्रमा से 100 km ऊपर 525 kg का एक उपग्रह ध्रुवीय कक्षा में स्थापित किया। यह उपग्रह अपने रिमोट सेंसिंग devices के जरिये चंद्रमा की ऊपरी सतह के चित्र भेजने का कार्य करता था l चंद्रयान-1 को लॉन्च करते समय लॉन्च वजन 1380 kg था
चन्द्रयान-1 के साथ भारत चाँद पर यान भेजने वाला छठा देश बन गया था। इस उपक्रम से चन्द्रमा और मंगल ग्रह पर मानव-सहित विमान भेजने के लिये रास्ता खुला
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चंद्रयान-1 ने 8 महीने सफलता पूर्वक पूरा कर लिया है और चंद्रमा के चारों ओर 3,000 परिक्रमाएं पूरी की है। चंद्रमा की सतह की 70,000 से अधिक images को भेजने के अलावा, चंद्रमा के ध्रुवीय क्षेत्र के स्थायी रूप से छायादार क्षेत्रों में चंद्रमा के पहाड़ों और क्रेटर के लुभावनी दृश्यों को प्रदान किया है, चंद्रयान -1 अंतरिक्षयान ने चंद्र पर रासायनिक और खनिज सामग्री से संबंधित important डेटा भी एकत्र किया है।
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Chandrayaan-1, Frist moon mission of isro
Reviewed by Hs sharma
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January 18, 2018
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